भैंसपर नाला में वन विभाग द्वारा निर्मित 39 लाख का चेकडैम बना किसानों के आर्थिक समृद्धि का आधार... ग्रामीण के निस्तारी के साथ वन्य जीवों की बुझ रही प्यास....
कोरबा/चैतमा :-- नरवा विकास योजना के अंतर्गत कैम्पा मद से भैंसपर नाला पर निर्मित 39 लाख का चेकडेम ग्राम डोड़की, नावापारा सहित आसपास ग्राम के कृषक ग्रामीणों के लिए आर्थिक विकास का आधार बन रहा है। कटघोरा वनमंडल के चैतमा वनपरिक्षेत्र अंतर्गत निर्माण कराए गए इस परियोजना का लाभ किसानों को सिंचाई के रूप में मिलने के साथ ही लोगों के निस्तारी एवं पालतू मवेशियों व जंगली जानवरों का प्यास भी बुझा रहा है।

यहां के कृषक ग्रामीणों ने सपने में भी नही सोचा था कि एक दिन सुगम सिंचाई परियोजना का लाभ उन्हें मिल सकेगा और वे दोहरी फसल भी ले सकेंगे। वनविभाग द्वारा 8- 9 फिट गहरा पानी रोके रखने की क्षमता वाले गुणवत्तापरख जो चेकडेम का निर्माण कराया है उससे इस क्षेत्र के किसानों का सपना अब साकार हुआ। पहाड़ी श्रृंखला से होकर जंगलों के रास्ते ग्राम डोड़की सहित आसपास के ग्रामों से होते हुए गुजरने वाले भैंसपर नाला पे भीषण गर्मी के दिनों में पहले पानी का बहाव ना के बराबर हो जाने के कारण ग्रामीणों को किसी प्रकार का कोई लाभ नही मिल पाता था और जंगली जानवर भी पानी की तलाश में भटकते हुए गांव के भीतर तक प्रवेश कर जाते थे। शासन द्वारा जंगली नदी- नालों में पानी ठहराव कर जलश्रोत को बढ़ावा देने वनविभाग के माध्यम से कराए जा रहे

चेकडेम व स्टापडेमों का निर्माण तब हितकारक सिद्ध हुआ जब विभाग ने इस नाले के बड़े- बड़े पत्थरों को काटकर लगभग 10 मीटर तक पानी ठहराव वाले वृहद चेकडेम का निर्माण कराया ताकि शासन के मंशानुसार गर्मी के दिनों में भी इस नाले पर पानी का संरक्षण हो सके और आसपास ग्रामीणों, किसानों सहित वन्य प्राणियों को भी इसका लाभ मिल सके। अब उक्त नाला में चेकडेम का निर्माण ग्रामीणों के निस्तारी, किसानों के लिए सिंचाई और वन्य जीवों के प्यास बुझाने के रूप में लाभ आ रहा है। इस संबंध पर चैतमा परिक्षेत्राधिकारी मृत्युंजय शर्मा ने बताया कि जंगलों में बहने वाले नदी- नालों के पानी को रोककर जलश्रोत को बढ़ाने की कार्ययोजना पर शासन द्वारा कार्य किया जा रहा है ताकि बारिश के पानी का संरक्षण हो सके और वाटर रिचार्ज से गिरते भू- स्तर पर रोक लग सके, जिसके तहत नरवा विकास योजना अंतर्गत कैम्पा मद से जंगलों में बहने वाले नदी- नालों पर चेकडेम, स्टापडेम निर्माण की अनुमति मिली। जहां गत वर्ष डोड़की के भैंसपर नाला में गुणवत्ता को ध्यान में रखकर चेकडेम का निर्माण कार्य कराया गया जिसके निर्माण पूर्ण होने से इस ग्राम सहित आसपास अनेक ग्रामों के दर्जनों किसानों को अब रबी के अलावा खरीफ फसल सिंचित करने का भरपूर लाभ मिल रहा है साथ ही वन में विचरण करने वाले जीवों के पानी पीने व उनके संवर्धन के लिए भी यह नाला अब कारगर सिद्ध हो रहा है जिससे अब इस क्षेत्र में विचरण करने वाले वन्य प्राणी आबादी क्षेत्रो की ओर आकर्षित नही होंगे। डोड़की के अलावा मदनपुर, बारीउमराव, हाथीबाड़ी में भी मुख्य नालों पर गुणवत्तापरख स्टापडेमों का निर्माण कराया गया है जिसके निर्माण और जल भंडारण से यहां के किसानों को भी जल संकट से छुटकारा मिली और उनको खेती किसानी में सुविधा के साथ- साथ आय के बढ़ोतरी से आर्थिक जीवन का सुधार के अलावा हरियाली में भी वृद्धि हो रही है।